कद्दू (Benefits Of Having Pumpkin) एक लाभकारी और पित्तशामक साग है. इसमें दिमाग़ की कमज़ोरी को नष्ट करने की क्षमता पाई जाती है. कद्दू ठंडक पहुंचानेवाला होता है. इसके सेवन से शरीर में आवश्यक तत्वों की कमी नहीं होती है. इसके अतिरिक्त यह शरीर में मोटापा नहीं आने देता. कद्दू के बीज विषनाशक और उदर कृमिनाशक होते हैं. ये शरीर में पहुंचनेवाले व उत्पन्न होनेवाले अनेक विषैले पदार्थों को नष्ट कर देते हैं. ये आयरन, ज़िंक, पोटैशियम और मैग्नीशियम के अच्छे स्रोत हैं. इसमें फाइबर भी भरपूर मात्रा में होता है, जिससे पेट हमेशा साफ़ रहता है.
* कद्दू के बीज की गिरी के आटे को घी में भूनकर उसमें शक्कर मिलाकर लड्डू बनाएं. हर रोज़ सुबह एक लड्डू खाकर ऊपर से दूध पीने से शारीरिक कमज़ोरी दूर हो जाती है.
* मूत्र विकारों में 20 से 25 ग्राम कद्दू के बीजों की गिरी में शहद या मिश्री मिलाकर इस्तेमाल करने से लाभ होता है.
* डायबिटीज़ के मरीज़ नियमित भूरे कद्दू का रस पीएं, तो ब्लड शुगर नियंत्रण में रहता है.
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* उन्माद में जब मरीज़ की आंखें लाल हों, नाड़ी गति तीव्र हो और मरीज़ उत्तेजित हो, तो भूरे कद्दू का रस पिलाने से आराम मिलता है.
* कद्दू के रस में शक्कर मिलाकर पीने से अम्ल पित्त की शिकायत दूर हो जाती है.
* भूरे कद्दू का साग घी में बनाकर खाने या उसके रस में शक्कर मिलाकर आधा कप की मात्रा में सुबह-शाम पीने से स्त्रियों को अत्यधिक मासिक ऋतुस्राव, शरीर का दाह और खून की कमी में उत्तम लाभ होता है.
* 20-40 ग्राम कद्दू के बीज को पीसकर सेवन करने और ऊपर से विरेचन औषधि लेने से पेट और आंतों के कीड़े मर कर निकल जाते हैं.
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* भूरे कद्दू को सुखाकर चूर्ण बनाकर खाने, उसकी तरकारी बनाकर खाने या उसका पाक बनाकर सेवन करने से पीलिया दूर हो जाता है. यह पीलिया की उत्तम व सरल औषधि है.
* कद्दू में मुख्य रूप से बीटा केरोटीन पाया जाता है, जिससे विटामिन ए मिलता है. पीले और संतरी कद्दू में केरोटीन की मात्रा अपेक्षाकृत अधिक होती है. बीटा केरोटीन एंटीऑक्सीडेंट होता है, जो शरीर में फ्री रैडिकल से निपटने में मदद करता है.
* चोट, घाव आदि होने पर 50 से 100 ग्राम तक कच्चे कद्दू का सेवन सेप्टिक को भी रोक देता है.
* कद्दू को डंठल की ओर से काटकर तलवों पर रगड़ने से शरीर की गर्मी ख़त्म होती है.
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* कद्दू लंबे समय के बुख़ार में भी असरकारी होता है. इससे शरीर की हरारत या उसका आभास दूर होता है.
* प्रयोगों से पाया गया है कि कद्दू के छिलके में भी एंटी बैक्टीरिया तत्व होता है, जो संक्रमण फैलानेवाले जीवाणुओं से रक्षा करता है.
* कद्दू में कुछ ऐसे मिनरल्स होते हैं, जो दिमाग़ की नसों को आराम पहुंचाते हैं. यदि आपको रिलैक्स होना है, तो आप कद्दू खा सकते हैं.
* कई महिलाओं में आयरन की कमी हो जाती है, जिससे उन्हें एनीमिया हो जाता है. ऐसे में कद्दू बेहद सस्ता उपाय है और ये पौष्टिक भी होता है.
– कियारा साहू
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