‘अब जा रही हूं मन में तुम्हारी याद लेकर. जानती हूं मुझे इन पत्रों को नष्ट कर देना चाहिए, वह…
मुझे दरवाज़े पर देख वह जड़ हो गई. निश्चय ही मेरा आना अपेक्षित नहीं था उसके लिए, पर मेरे लिए…
अनेक कार्यक्रम थे उनकी लिस्ट में आज एक ही दिन के लिए, लेकिन मैं सिद्धि की यादों के संग अकेला…