रात है. सन्नाटा है. पीड़ा, भय, लज्जा, ग्लानि है. लेकिन मनोरथ की आंखों में नींद नहीं है. पिटता हुआ कप्तान…
कप्तान की शातिर हंसी, “डंडे पड़ने से नज़र खुलती है. सेल्फ कॉन्फिडेंस हाई होता है. डंडे खाकर लोग नेता बन…
अम्मा खाने का कितना प्रबंध करती थीं. अम्मा को याद कर मनोरथ का दिल भर आया. कुछ दिन पहले तक…