दो दोस्त और बोलनेवाला पेड़ (Panchtantra Story: Two Friends And A Talking Tree) एक गांव में मनोहर और धर्मचंद…
“रितु, वर्जिनिटी से बड़ा लिंग भेद कुछ भी नहीं आज हमारे समाज में. एक ओर जहां लड़कों से कुछ भी…
ईश्वर से प्रार्थना करती हूं, संसार में सभी भाई-बहन के पावन रिश्ते को समझ सकें. जब कभी अपनी ‘दी’ के…
बाबूजी की वे कातर निगाहें एवं फैली हथेलियां क्या कभी भूली जा सकती हैं? “बेटा मुझे छोड़कर न जाओ...” उनके…
'तुम नहीं जानती शिखा, तुम्हें खोने के एहसास ने मुझे किस क़दर झकझोर कर रख दिया था. अगर तुम्हें कुछ…
आंटी की आवाज़ में जो कुछ भी था, वह रिया के संवेदनशील, भावुक मन को अंदर तक छू गया. एक…
“तुझे ‘सास’ नामक बीमारी हो गई है वसुधा. और कुछ नहीं.” अचानक जया बोल उठी.“ क्या?” वसुधा चौंक गई. “हां,…
''आप विश्वास नहीं करेंगी डॉक्टर, पिछले कई महीनों से मेरा लेखन कार्य बिल्कुल ठप्प पड़ा है. मैं चंद पंक्तियां लिखने…
“कल के हालात से डरकर हम आज रिश्तों में दरारें डालें, उन्हें खाद-पानी से वंचित कर, स़िर्फ इसलिए सूखने दें…
“बच्चे की देखभाल का काम अब मम्मी-पापा या आया के बस का नहीं है संदीप. मां की जगह…
“... मुझे यही सही लगा कि आपके जन्मदिन के अवसर पर आपको अपना परिवार तोहफे के रूप में लौटाऊं. मैं भइया-भाभी…
मुझे तो अभी-अभी जीवन का एक सबक मिला था कि चाहे रिश्ता जो भी हो, कभी एक तरफ़ की बात…