अधिकतर महिलाओं की ज़िंदगी में एक समय ऐसा आता है जब वो अपने बच्चे की ख़ातिर जॉब छोड़ देती हैं. कई बार ऐसा भी होता है कि वो पोस्ट प्रेग्नेंसी नए सिरे से जॉब की शुरुआत नहीं कर पातीं.इस तरह की मनोदशा महिलाओं को आगे जॉब करने से रोकती है. आपके साथ भी अगर कुछ इस तरह की स्थिति है, तो आप अपने अनुसार एक बार फिर से जॉब की शुरुआत कर सकती हैं. ज़रूरी नहीं कि किसी ऑफिस में जाकर आठ घंटे की जॉब करें. घर से भी आप अपने करियर की नई पारी की शुरुआत कर सकती हैं. आप अगर बहुत पढ़ी-लिखी नहीं हैं, लेकिन आज के ज़माने में अपने पैरों पर खड़ी होना चाहती हैं और आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनना चाहती हैं, तो बेबी सिटिंग आपके लिए बेहतर विकल्प है. बेबी सिटिंग के ज़रिए आप पैसे के साथ बच्चों का भविष्य भी बना सकती हैं. इस तरह से आपका पूरा दिन भी निकल जाएगा और दूसरे पैरेंट्स की मदद भी हो जाएगी. कैसे करें शुरुआत? आइए, जानते हैं.
कैसे करें शुरुआत?
– बेबी सिटिंग शुरू करने के लिए सबसे पहले अपने घर का एक ऐसा कमरा चुनें जो पूरी तरह से सुरक्षित हो.
– घर के बाहर एक छोटा-सा बोर्ड लगाएं, जिससे लोगों को आपके बेबी सिटिंग के बारे में पता चले.
– कुछ ख़ास चीज़ें जैसे, बच्चों के खेलने के लिए खिलौने, सॉफ्ट ट्वॉयज़ आदि रखें.
– खिलौनों के साथ बच्चों को पढ़ाने के लिए जैसे- राइम्स बुक, स्टोरी बुक आदि रखें.
– बच्चों को खाने में पूरी तरह से हेल्दी खाने का मेनू रखें, जिससे बच्चों के पैरेंट्स आप पर भरोसा कर सकें.
– अपने पैरेंट्स से दूर बच्चे पूरा दिन आपके सात होते हैं. ऐसे में उनके मूड का भी ख़्याल आपको रखना होगा. कुछ समय घर के बाहर लॉन में उनके साथ खेलें ताकि उनका फिज़िकल एक्सरसाइज़ भी हो जाए और समय भी पास हो जाए.
– अपना एक अच्छा सा टाइम-टेबल बनाकर बच्चों के पैरेंट्स को दें ताकि उन्हें पता हो कि उनके बच्चों का आप किस तरह ख़्याल रखेंगी.
– शुरुआत में ही बहुत ज़्यादा फीस न रखें.
– बेबी सिटिंग के दौरान बच्चों को यूं ही अकेला छोड़ अपने बच्चों में न लग जाएं. इससे वो बच्चे अकेलापन महसूस करेंगे.
– घर के काम को उससे पहले निपटा लें ताकि थोड़ा समय उन बच्चों को दे पाएं.
बचें इन चीज़ों से
– अचानक जॉब छोड़ने के बाद घर वालों पर अपनी फ्रस्टेशन निकालने की कोशिश न करें.
– ज़िंदगी को दोबारा जीने की कोशिश करें.
– सकारात्मक सोचें और खाली समय में काम करना शुरु करें.
– घर के कामों की एक लिस्ट बनाएं. उसके बाद अपना पूरा समय ख़ुद पर दें.
– सपनों को भूलें न. अपने लक्ष्य को हमेशा याद रखें. फुल टाइम जॉब न सही, लेकिन पार्ट टाइम जॉब का ऑप्शन ज़रूर रखें.
एक रिसर्च के अनुसार 35 पार करने के बाद
अधिकतर महिलाएं जॉब नहीं करना चाहतीं. इसके लिए कई बार उनकी कंपनी तो कई बार उनकी पर्सनल लाइफ ज़िम्मेदार होती है.
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