Health & Fitness

अब डिप्रेशन में मिलेगा लाभः मंत्र-मुद्रा-मेडिटेशन के साथ (Overcome Depression With the help Of Manta, Mudra And Meditation)

एक पुरानी कहावत है कि चिंता चिता के समान होती है. चिंता, जब डिप्रेशन का रूप ले लेती है तो इंसान को न सिर्फ़ मानसिक, बल्कि शारीरिक रूप से भी कमज़ोर बना देती है. डिप्रेशन व्यक्ति को अंधेरे की ओर ढकेल देता है, जिससे जीवन अंधकारमय हो जाता है.  आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि भारत सहित विश्वभर में डिप्रेशन की समस्या तेज़ी से फैलती जा रही है. भारत दुनिया का सबसे डिप्रेश्ड यानी अवसादग्रस्त देश है, दूसरे नंबर पर चीन व तीसरे पर अमेरिका आता है. इस दिशा में WHO (डब्ल्यूएचओ) यानी विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा किए गए एक अध्ययन के अनुसार,  भारत में 56,675,969 लोग डिप्रेशन के शिकार हैं, जो कि भारत की जनसंख्या का 4.5%  है. इतना ही नहीं, डब्ल्यूएचओ के आंकड़े बताते हैं कि 36%  भारतीय अपने जीवन के किसी न किसी हिस्से में डिप्रेशन का शिकार होते हैं. 

डिप्रेशन मन से जुड़ी बीमारी है. अक्सर लोग कभी काम, कभी अप्रिय रिश्ते, कभी सेहत, तो कभी किसी अप्रिय घटना के कारण तनावग्रस्त हो जाते हैं. विशेषज्ञों की मानें, तो किसी भी अप्रिय घटना का असर एक मनुष्य पर ज़्यादा से ज़्यादा 100 दिनों तक रहता है, लेकिन कुछ लोग पुरानी घटनाओं को बार-बार कुरेदते हैं. जिससे उनके घाव भर नहीं पाते और उनका मन निराशा और पीड़ा से भर जाता है. जब तनाव जब हद से ज़्यादा बढ़ जाता है, तो फिर धीरे-धीरे हताशा व निराशा की तरफ़ ले जाता है, जहां किसी भी काम में यहां तक की जीवन की किसी भी क्रिया में मन नहीं लगता और लोग डिप्रेशनग्रस्त हो जाते हैं. डिप्रेशन से निजात पाने के लिए डॉक्टर से इलाज करवाने के साथ ही मंत्र-मुद्रा और मेडिटेशन की शरण में जाकर आप जल्द से जल्द डिप्रेशन के लक्षणों को कम कर सकते हैं.

डिप्रेशन से मुक्ति के लिए  हाकिनी मुद्रा लगाकर  ॐ  शोकविनाशोभ्याम् नमः मंत्र का जाप करने से अद्भुत लाभ मिलता है. हाकिनी मुद्रा लगाने के लिए पांचों उंगलियों के अग्रभाग यानी टिप्स को आपस में मिलाते हैं. उंगलियों के अग्रभाग हमारे नर्वस सिस्टम का प्रतिनिधित्व करते हैं. इस तरह उंगलियों के अग्रभाग को आपस में मिलाने से हमारे नर्वस सिस्टम में नई ऊर्जा व नई शक्ति का आगमन होता है. नई शक्ति के आगमन से तनाव व डिप्रेशन जैसी चीज़ें हमारे शरीर से बाहर चली जाती हैं. इसके साथ ॐ  शोकविनाशोभ्याम् नमः मंत्र के माध्यम से हम शोक यानी दुख का विनाश करने के लिए ऊं यानी मंत्र की शरण में जाते हैं.

इसे सही तरीक़े से करने के लिए दोनों हाथों की पांचों उंगलियों के अग्रभाग को आपस में मिलाकर हृदय के पास रखें. रीढ़ की हड्डी सीधी रखें और आंखें बंद करके शोक विनाश्याभ्याम नमः मंत्र का जाप करें. इससे तनाव व डिप्रेशन के लक्षणों को कम करने में बहुत मदद मिलती है.  मंत्र और मुद्रा के साथ मेडिटेशन करने से अधिकतम लाभ मिलता है. मेडिटेशन यानी ध्यान लगाने का अर्थ किसी वस्तु पर अपने विचारों का केन्द्रित करना नहीं है, बल्कि यह विचार रहित होने की प्रक्रिया है. मेडिटेशन लगाने के लिए हथेलियों में हाकिनी मुद्रा लगाकर ध्यान तीसरे नेत्र पर यानी दोनों भौंहों के बीच केंद्रित करें और हथेलियों को गोद में रख दें. कंधे सहज रखें. ध्यान तीसरे नेत्र पर केंद्रित होना चाहिए. अब भीतर ही भीतर मंत्र बोलना शुरू करें. आप जितनी देर तक ध्यान तीसरे नेत्र पर केंद्रित करेंगे, उतने अच्छे परिणाम मिलेंगे. शुरुआत में थोड़ी मुश्किल हो सकती है, लेकिन नियमित रूप से इस प्रक्रिया को 15 से 20 मिनट तक करने से सकारात्मक परिणाम मिलते हैं और तनाव व डिप्रेशन से मुक्ति पाने में मदद मिलती है.

ध्यान के माध्यम से हम अपने शरीर के प्रति अहो भाव दर्शाते हैं और उसका भीतर से अनुभव करते हैं. ध्यान शरीर व मन में साम्जस्य की स्थिति पैदा करता है. यह मन को शांत करने में मदद करता है और भीतर से प्रसन्न बनाता है. ध्यान मस्तिष्क को इस प्रकार प्रतिशिक्षित करता है कि व्यक्ति नकारात्मक सोच की चंगुल से बाहर निकल जाता है. यह मस्तिष्क से नकारात्मक विचारों को बाहर फेंक देता है. जिससे शोक का विनाश होता है.  अधिकतम लाभ के लिए रोज़ाना सुबह और शाम कम से कम 15 से 20 मिनट तक मंत्र के साथ मुद्रा लगाकर ध्यान साधना करें. शुरुआत में इस प्रक्रिया को करते समय आपको थोड़ी कठिनाई हो सकती है, लेकिन धीरे-धीरे नियमित प्रयास व सही मार्गदर्शन से आप ध्यान लगाना सीख जाएंगे. इससे डिप्रेशन से छुटकारा पाना बेहद आसान हो जाएगा. जी हां, आप ध्यान यानी मेडिटेशन की शरण में जाकर जीवन के सकारात्मक पक्ष को देख पाएंगे.

सिर्फ डिप्रेशन ही नहीं, ध्यान और मंत्र-मुद्रा की मदद से आप मधुमेह, हृदय संबंधी रोग, ब्लडप्रेशर, जोड़ों में दर्द जैसी 1-2 नहीं, बल्कि 48 बीमारियों से निजात पा सकते हैं. इसके लिए  डाउनलोड करें वैदिक हीलिंग मंत्र ऐप. जिसमें 48 बीमारियों से संबंधित 48 मंत्रों व मुद्राओं के साथ-साथ 48 रोगों के लिए गाइडेड मेडिटेशन टेक्नीक यानी ध्यान के तरीक़ों की भी जानकारी दी गई है. इस तरह आप मंत्र, मुद्रा व ध्यान विज्ञान की इस प्राचीन विद्या का लाभ उठाकर स्वस्थ-निरोगी जीवन पा सकते हैं. ये ऐप एंड्रॉयड व आइओएस दोनों के लिए उपलब्ध है. मेडिटेशन की इन ख़ास तकनीकों के बारे में जानने के लिए 14 दिनों का फ्री ट्रायल पीरियड आज ही ट्राई करें और हमेशा स्वस्थ रहें.

ऐप डाउनलोड करने के लिए यहां क्लिक करें: https://57218.app.link/RacWEfJWo3

Shilpi Sharma

Share
Published by
Shilpi Sharma

Recent Posts

कविता- पंख… (Poem- Pankh…)

एक छवि बसी हुई हैअब तक आंखों मेंबड़े जतन सेमेरा कुरता प्रेस करते हुए.. एक…

March 18, 2024

सोनाली कुलकर्णी यांच्याकडून त्यांच्या नव्या पुस्तकाची घोषणा (Actress Sonali Kulkarni Facebook Live About Her New Book)

अभिनेत्री सोनाली कुलकर्णी यांनी नुकतेच फेसबुल लाईव्हच्या माध्यमातून मोठी घोषणा केली आहे. ही घोषणा करत…

March 18, 2024
© Merisaheli