Ghazal

काव्य: गोधूलि-सी शाम… (Poetry: Godhuli Si Sham)

गोधूलि-सी शाम में, तुम्हारे मखमली एहसास हैं… रेशम-सी रात में, शबनमी तुम्हारे ख़्वाब हैं… एक मुकम्मल रुत हो तुम, मैं अधूरा पतझड़-सा… तुम रोशनी हो ज़िंदगी की और मैं गहरा स्याह अंधेरा… थक गया हूं ज़माने की रुसवाइयों से… डरने लगा हूं अब जीवन की तनहाइयों से…  तुम्हारे गेसुओं की पनाह में जो गुज़री महकती रातें, अक्सर याद आती हैं वो तुम्हारे नाज़ुक-से लबों से निकली मीठी बातें…  मुझे अपनी पनाह में ले लो, बेरंग से मेरे सपनों में अपने वजूद का रंग भर दो…  लौट आओ कि वो मोड़ अब भी रुके हैं तुम्हारे इंतज़ार में… सूनी हैं वो गालियां, जो रहती थीं कभी गुलज़ार तुम्हारे दीदार से…  गुलमोहर-सी बरस जाओ अब मेरे आंगन में, मिट्टी की सोंधी ख़ुशबू सी बिखर जाओ इस सावन में…  अपनी उलझी लटों मेंमेरे वजूद को सुलझा दो… तुम्हारा बीमार हूं मैं और बस तुम ही मेरी दवा हो…  गीता शर्मा

शायरी: निदा फ़ाज़ली की उम्दा ग़ज़लें (Shayari: Nida Fazli Special)

ग़ज़ल 1 गिरजा में मंदिरों में अज़ानों में बट गया होते ही सुब्ह आदमी ख़ानों में बट गया इक इश्क़…

मैं शायर तो नहीं… (Hindi Shayari: Main Shayar To Nahi…)

   अहमद फ़राज़ की ग़ज़ल दिल को अब यूँ तेरी हर एक अदा लगती है दिल को अब यूँ तेरी…

मैं शायर तो नहीं… (Hindi Shayari: Main Shayer To Nahi…)

बशीर बद्र की उम्दा ग़ज़ल  कोई फूल धूप की पत्तियों में हरे रिबन से बंधा हुआ, वो ग़ज़ल का लहजा नया-नया,…

मैं शायर तो नहीं… (Hindi Shayari: Main Shayer To Nahi.)

निदा फ़ाज़ली की उम्दा ग़ज़ल  बेसन की सोंधी रोटी पर  खट्टी चटनी जैसी मां  याद आती है चौका-बासन  चिमटा फुकनी…

बर्थ डे स्पेशल: आवाज़ ही पहचान है… देखें भूपेंद्र सिंह के 5 गानें (Happy Birthday Bhupinder Singh)

एक अलग किस्म की खनकती आवाज और गाने का अनोखा अंदाज़, यही पहचान है गायक भूपेंद्र सिंह की. उन्होंने गाया…

© Merisaheli