Relationship & Romance

हेल्दी रिलेशनशिप के लिए छोड़ें भावनाओं की ‘कंजूसी’ (Express Yourself For A Healthy Relationship)

बच्चों के साथ कुछ पल मौज-मस्ती, बड़ों के साथ बैठकर बोलने-बतियाने की चाहत, पार्टनर के साथ चंद सुकून के पल… ऐसी न जाने कितनी हसरतें हैं, जिन्हें पूरा करने की ख़्वाहिश रखते हैं हम, पर न जाने कहां इतने बिज़ी हैं कि अपनी भावनाओं को अपनों तक पहुंचा ही नहीं पाते. क्या सचमुच इतने बिज़ी हो गए हैं हम या फिर भावनाओं की कंजूसी करने लगे हैं? क्या है भावनाओं की कंजूसी के कारण और कैसे छोड़ें ये कंजूसी आइए जानते हैं.

क्यों करते हैं हम भावनाओं की कंजूसी?

–  करियर में आगे, और आगे बढ़ने की होड़ लगी है.

– हर कोई अपनी आर्थिक स्थिति को अच्छी से बेहतर और बेहतर से बेहतरीन करने में लगा है.

– ख़ुद को बेस्ट साबित करने में हम सबने अपना सर्वस्व लगा दिया है.

– बिज़ी लाइफस्टाइल और तनाव हमारी सेहत को भी नुक़सान पहुंचा रहा है.

– अपनों से ज़्यादा अपनी भावनाओं को तवज्जो देने लगे हैं.

हम सभी मानते हैं कि हमारी ज़िंदगी बहुत तेज़ रफ़्तार से दौड़ रही है, सब कुछ बहुत तेज़ी से बीत रहा है, घर चलाने की जद्दोज़ेहद में बहुत कुछ छूट रहा है, पर क्या किसी ने यह सोचा कि अपने और अपनों के लिए दौड़ते-भागते हम उनसे दूर तो नहीं निकल आए? ज़िंदगी जीने की कला कहीं भूलते तो नहीं जा रहे हैं?

यह भी पढ़ें: क्या आपके हार्मोंस आपके रिश्ते को प्रभावित कर रहे हैं?

तय करें अपनी प्राथमिकताएं

हर किसी को अपनी प्राथमिकताएं तय करनी चाहिए और प्राथमिकताओं की फेहरिस्त में परिवार सबसे पहले होना चाहिए. हेल्दी रिलेशनशिप के लिए सबसे ज़रूरी है अपनी भावनाएं एक-दूसरे से शेयर करना. परिवार के सभी सदस्यों में आपसी प्यार-विश्‍वास और अपनापन यही तो हमारे परिवार और जीवन की पूंजी है, इसे प्राथमिकता दें. ऐसे अनगिनत उदाहरण हैं, जहां कामयाब लोगों ने इस बात को सबसे ज़्यादा अहमियत देने की बात कही है, तो आप भी ‘फैमिली कम्स फर्स्ट’ के स्लोगन को अपना लें और ज़िंदगी को एक नए नज़रिए से देखने की कोशिश करें.

बड़ों की हंसी कमाएं

पैसे तो हम सभी कमाते हैं, पर अपने परिवार की हंसी कितनी कमाते हैं? कोशिश करें रोज़ाना रात को खाना खाने के बाद कुछ देर अपने पैरेंट्स के साथ बैठें. उनसे बातें करें, उनका हालचाल लें और ऑफिस का कोई फनी क़िस्सा उन्हें सुनाएं या फिर कोई जोक सुनाएं, जिसे सुनकर उनके चेहरे पर मुस्कान आ जाए. आपके पैरेंट्स की मुस्कुराहट ही आपकी उस दिन की असली कमाई है.

बच्चे हैं बेस्ट ‘बैटरी चार्जर’

माना कि आप दिनभर के काम के बाद थक गए हैं और आपकी बैटरी डाउन है, पर क्या आप जानते नहीं कि बच्चे बेस्ट चार्जर होते हैं? तो जाइए, बच्चों को गुदगुदाएं, उनके साथ खेलें, उन्हें घुमाकर लाएं और अपने साथ-साथ बच्चों को भी दिन का बेस्ट टाइम दें.

पार्टनर के लिए है शरारतें

पति हो या पत्नी हर कोई चाहता है कि उसका पार्टनर उनकी भावनाओं को समझे. पार्टनर को समय दें, उसके साथ व़क्त बिताएं. पति-पत्नी के रिश्ते में प्यार-विश्‍वास के साथ-साथ थोड़ी शरारत और थोड़ी छेड़छाड़ भी ज़रूरी है. ये शरारतें ही आपकी रूटीन लाइफ को रोमांटिक बनाती हैं, तो थोड़ी भावनाएं रोमांस में भी ख़र्च करें और अपनी मैरिड लाइफ को मज़ेदार व रोमांटिक बनाएं.

भाई-बहनों पर इंवेस्ट करें प्यार-दुलार

कभी शिकायतें, तो कभी टांग खिंचाई, कभी लड़ाई-झगड़े, तो कभी प्यार-दुलार- भाई-बहनों का रिश्ता ही कुछ ऐसा होता है. अपनी रोज़मर्रा की भागदौड़ में अगर आप एक-दूसरे से दूर हो गए हैं, तो रोज़ाना एक बार फोन पर बात ज़रूर करें. वीकेंड पर मिलें और अपनी भावनाएं एक-दूसरे से शेयर करें. भावनाओं में इंवेस्टमेंट का आपको प्यार-दुलार का अच्छा-ख़ासा रिटर्न मिलेगा, जो आपकी ज़िंदगी में ख़ुशहाली लाएगा.

दोस्तों की यारी पर करें न्योछावर

फैमिली के बाद फ्रेंड्स ही तो हमारे सबसे क़रीब होते हैं. कोई प्रॉब्लम शेयर करनी हो, एंजॉय करना हो या फिर गॉसिप करनी हो, दोस्तों से बेहतर कौन हो सकता है. सोशल मीडिया के इस ज़माने में दोस्तों से कनेक्टेड रहना बहुत आसान है, तो क्यों न अपने बिज़ी रूटीन से थोड़ा व़क्त निकालकर अपने दोस्तों तक अपनी भावनाएं पहुंचाई जाएं.

यह भी पढ़ें: ज़िद्दी पार्टनर को कैसे हैंडल करेंः जानें ईज़ी टिप्स

कंजूसी छोड़ें, दिल खोलकर लुटाएं भावनाएं

– पैरेंट्स और घर के अन्य बड़ों को जब भी मौक़ा मिले ‘थैंक्यू’ कहना न भूलें. आपको उनकी परवाह है और उनके त्याग और समर्पण का एहसास है, यह उन्हें जताने में कभी कंजूसी न करें.

– बड़ों की तरह छोटों को भी उनके हिस्से का प्यार और दुलार दें. भावनाओं को स़िर्फ खाने-पीने और खिलौनों के ज़रिए ही नहीं, संस्कारों और डांट-डपट के ज़रिए भी ज़ाहिर करें.

– घरवालों को बर्थडे-एनीवर्सरीवाले दिन स्पेशल फील कराएं. उसके साथ दिन बिताकर या उसका मनपसंद खाना खिलाकर भी आप अपनी भावनाएं उस तक पहुंचा सकते हैं.

– कहते हैं ‘टच थेरेपी’ में बहुत ताक़त होती है. यह आपकी पॉज़िटिव फीलिंग्स को सामनेवाले तक बख़ूबी पहुंचाती है, तो फैमिली मेंबर्स को गले लगाना और शाबासी देना जैसी चीज़ें रोज़मर्रा की ज़िंदगी में शामिल करें.

– पैरेंट्स, पार्टनर और बच्चों को दिन में एक बार ‘आई लव यू’ ज़रूर कहें. अक्सर हमें लगता है कि प्यार तो करते हैं, फिर जताने की क्या ज़रूरत है, पर याद रहे, प्यार का स़िर्फ होना काफ़ी नहीं, प्यार को समय-समय पर ज़ाहिर भी करते रहना ज़रूरी है.

– बच्चों की तरह बड़ों के लिए भी प्ले टाइम बनाएं. घर के बड़ों को उनका फेवरेट इंडोर या आउटडोर गेम्स खेलने के लिए उत्साहित करें और सारा इंतज़ाम ख़ुद करें.

– परिवार के साथ ज़्यादा से ज़्यादा समय बिताने का बेस्ट तरीक़ा है कि सब साथ बैठकर खाना खाएं. हर किसी को घर में फैमिली डिनर टाइम बनाना चाहिए और हर किसी को उसके नियम का पालन भी करना चाहिए. यही वो समय होता है, जब पूरा परिवार एक साथ होता है और आप अपनी बात सबके साथ शेयर कर सकते हैं.

– परिवार के किसी सदस्य से अगर मनमुटाव या अनबन हो गई है, तो बैठकर उससे बात करें और अपना नज़रिया और पक्ष उसके सामने रखें. मन में कोई गुबार न रखें. अक्सर न कह पाने के कारण छोटी-छोटी बातें रिश्तों में दरार डाल देती हैं, इसलिए आप ऐसा न होने दें और यहां भी भावनाओं की कंजूसी न करें.

– फैमिली को स्पेशल फील कराने के लिए वीकली फैमिली नाइट रखें. वीकेंड पर या छुट्टी की रात कुछ ख़ास करें. मूवी देखें, नाटक देखने जाएं, अंताक्षरी खेलें या फिर बैठकर गप्पे मारें.

– भावनाओं को खुलकर शेयर करने के लिए मंथली प्लान भी बनाएं. महीने में एक बार परिवार को कहीं घुमाने ले जाएं या फिर कुछ ख़ास करें.

– याद रखें, दूसरों को ख़ुश करने का मौक़ा कभी हाथ से न जाने दें. अगर आपको पता है कि आपके एक फोन कॉल या मैसेज से किसी के चेहरे पर मुस्कान आ सकती है, तो ऐसा ज़रूर करें.

– दूसरों के साथ-साथ अपने लिए भी भरपूर भावनाएं लुटाएं. ख़ुद को ख़ुश रखने और पैंपर करने का कोई मौक़ा न गंवाएं, क्योंकि ख़ुशियां तभी बांट पाएंगे, जब आप ख़ुद ख़ुश रहेंगे.

– नाते-रिश्तेदारों को भी कभी-कभार याद कर लेंगे, तो वो ख़ुश हो जाएंगे.

– हमसे बहुत-से लोगों को बहुत-सी उम्मीदें होती हैं, सभी तो नहीं, पर कुछ की उम्मीदें तो हम ज़रूर ही पूरी कर सकते हैं.

– अनीता सिंह

यह भी पढ़ें: पहला अफेयर: दिल क्यों दिया…

 

Aneeta Singh

Share
Published by
Aneeta Singh

Recent Posts

पंचतंत्र कहानी- ईमानदारी (Panchtantra Story- Imandari)

"कहा न मैं ऐसा व्यक्ति नहीं हूं. ईमानदारी के चक्कर में ही तो मुझे मजदूरी…

September 13, 2025

PRATIK GABA: The Architect Of India’s High-Octane Nightlife And Luxury Experiences

In the ever-evolving world of upscale nightlife and experiential luxury, Pratik Gaba is a name…

September 13, 2025

‘रागिनी MMS 2’ एक्ट्रेस करिश्मा शर्मा हुई घायल, चलती ट्रेन से कूदी एक्ट्रेस के सिर और पीठ पर लगी चोट (Ragini MMS-2 Karishma Sharma Injured In Horrible Train Accident)

इंडस्ट्री में अपनी बोल्डनेस का तड़का लगाने वाली रागिनी MMS 2 एक्ट्रेस करिश्मा शर्मा (Ragini…

September 12, 2025

पहला अफेयर: काश!.. (Love Story- Kash!..)

... ऐसे ना जाने कितने काश थे, पर काश.. तो काश ही है... सोचा था…

September 12, 2025
© Merisaheli