हाथ में चौमुख दीप लेकर जैसे ही वह जलाने लगी कि उसे भगवती चरण वर्मा की कविता की वह पंक्ति…
“आप क्या जानो जहां हसबैंड-वाइफ दोनों वर्किंग होते हैं, वहां समय की कितनी मारामारी होती है.” तीसरे घर में बात…
"सुकून… सुकून… जब घर पहुंचा, तो ये शब्द मेरे मस्तिष्क पर हथौड़े सा वार करने लगे." लाम्बाजी सिर पकड़कर बैठ…
मैं तुम्हें इश्क़ के मुहाने तक लेकर आया और तुम लौट गए उस मोड़ पर भी तुम आगे बढ़ने का …
कई बार किताब के पन्ने उलटते-पुलटते या पेन में संपदा की उंगलियां उपमन्यु की उंगलियों से छू गई थीं, पर…
लेकिन कार की ओर बढ़ते-बढ़ते अनायास ही वे मुड़े. सचिव के हाथ से एक पुष्प गुच्छ लिया, दमयंती के पास…
“देखो डियर, मरना सभी को है. डेथ इज मस्ट, कोई किसी को मरने से रोक नहीं सकता. कोई किसी के…
बॉस संकेत समझ गए थे. उनका चेहरा तमतमा-सा गया था. होंठों की बुदबुदाहट से साफ़ लग रहा था कि वे…
कृति के आकर्षण की तीव्र आंधी प्रणव को तो बहा ही रही है, साथ ही नियति की ज़िंदगी के हरे-भरे…
मेरी नफ़रत के बावजूद वे मुझे अब भी बहुत प्यार करते हैं. पर शायद मेरे तेवर देखकर वे पहले की…