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Sports Management
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ICC अंडर 19 वर्ल्ड कप: ऑस्ट्रेलिया को हरा, चौथी बार भारत बना चैम्पियन, बधाइयों और इनामों की बरसात! (India lifted their fourth Under-19 World Cup title)
जी हां, ये है कमाल हमारे यंगिस्तान का और उनके कोच रहे राहुल द्रविड़ का… भारत ने फ़ाइनल में आसानी से ऑस्ट्रेलिया जैसी मज़बूत टीम को धूल चटा दी और वर्ल्ड कप ट्रोफ़ी पर क़ब्ज़ा किया. भारत ने चौथी बार ये टाइटल जीतकर रेकॉर्ड भी बना दिया है. टीम की performance को देखते हुए BCCI ने सभी खिलाड़ियों को 30-30 लाख और कोच राहुल द्रविड़ को 50 लाख का इनाम देने की घोषणा की.
यह भी पढ़ें: राहुल द्रविड़ को मिला बेटे समित से परफेक्ट बर्थडे गिफ्ट…
सचिन से लेकर विरेंद्र सहवाग तक और यहाँ तक कि बॉलीवुड और पलिटिकल लीडर्स ने भी टीम को बधाई दी.
हमारी तरफ़ से टीम इंडिया को बधाई!

खेल में दिलचस्पी रखने वालों के लिए स्पोर्ट्स मैनेजमेंट एक अच्छा करियर ऑप्शन है. इसके ज़रिए वे अपनी पसंद और शौक़ को प्रो़फेशन बना सकते हैं. आइए, स्पोर्ट्स मैनेजमेंट से जुड़े क्षेत्रों के बारे में जानने की कोशिश करते हैं.
करियर ऑप्शन
प्लेयर (खिलाड़ी), फ़िज़िकल एज्युकेशन इंस्ट्रक्टर, कोच, स्पोर्ट्स मैनेजर, स्पोर्ट्स एडमिनिस्ट्रेटर, एम्पायर या रेफ़री, स्पोर्ट्स मेडिसिन (यदि आप मेडिकल फ़ील्ड से जुड़े हैं), स्पोर्ट्स जर्नलिस्ट आदि स्पोर्ट्स मैनेजमेंट से जुड़े पद हैं. इसके अलावा कई निजी व सरकारी स्पोर्ट्स इंस्टिट्यूट भी कई तरह के स्पोर्ट्स स्पॉन्सर करते हैं. वहां भी स्पोर्ट्स टीचर, कोच आदि की ज़रूरत होती है. आप किसी स्पोर्ट्स क्लब में मैनेजर के रूप में भी काम कर सकते हैं.
शैक्षणिक योग्यता
ग्रेज्युएशन में कम से कम 40% मार्क्स होने ज़रूरी हैं. स्पोर्ट्स से जुड़ा कोई कोर्स करना भी ज़रूरी है, जैसे-बैचलर इन फ़िज़िकल एज्युकेशन आदि.
क्या सिखाया जाता है?
स्पोर्ट्स मैनेजमेंट में सोशल और एथिकल रिलेवेन्स ऑफ़ स्पोर्ट्स मैनेजमेंट, स्पॉन्सरशिप, मार्केटिंग एंड मर्चन्डाइस ऑफ़ स्पोर्ट्स, इंटररिलेशनशिप बिटवीन फ़ायनांस एंड स्पोर्ट्स, कम्युनिकेशन विद इलेक्ट्रॉनिक एंड प्रिंट मीडिया, स्पोर्ट्स संबंधी क़ानून का ज्ञान, स्पोर्ट्स एथिक्स की जानकारी, स्पोर्ट्स ऑर्गनाइजेशन आदि बातों पर ज़ोर दिया जाता है.
स्पोर्ट्स मैनेजर का क्या काम होता है?
स्पोर्ट्स मैनेजर को स्पोर्ट्स एजेंट भी कहते हैं. प्लेयर्स के शेड्यूल, करियर प्रोग्रेशन, बिज़नेस प्रमोशन, मीडिया एंड पब्लिक रिलेशन संबंधी काम स्पोर्ट्स मैनेजर के होते हैं. साथ ही बजटिंग, फ़ायनांस से जुड़ी ज़िम्मेदारी भी उसी के कंधों पर होती है.
स्पोर्ट्स एडमिनिस्ट्रेटर का काम
सुपरवाइज़िंग के साथ-साथ स्पोर्ट्स एडमिनिस्ट्रेटर स्पोर्ट्स एक्टिविटी व इवेंट की प्लानिंग और उसे मैनेज भी करता है, जैसे- नेशनल व डोमेस्टिक क्रिकेट, फुटबॉल, हॉकी, गोल्फ़ टूर्नामेंट आदि.
ज़रूरी योग्यताएं
कम्युनिकेशन स्किल अच्छी होनी चाहिए.
क्रिकेट, हॉकी, फुटबॉल आदि में से किसी एक खेल के प्रति पैशनेट होना ज़रूरी है.
खेल के प्रति ईमानदार व उत्सुक होना चाहिए.
संबंधित खेल के रूल्स, रेग्युलेशन और क़ानून की पूरी जानकारी होनी ज़रूरी है.
लीडरशिप या कैप्टनशिप क्वालिटी होनी चाहिए.
शारीरिक रूप से पूरी तरह स्वस्थ होना भी ज़रूरी है.
प्रमुख विश्वविद्यालय व संस्थान
अलगप्पा यूनिवर्सिटी, तमिलनाडु- (पोस्ट ग्रेज्युएट डिप्लोमा इन स्पोर्ट्स मैनेजमेंट)
इंदिरा गांधी इंस्टिट्यूट ऑफ़ फ़िज़िकल एज्युकेशन एंड स्पोर्ट्स साइन्स, नई दिल्ली (पोस्ट ग्रेज्युएट डिप्लोमा इन स्पोर्ट्स मैनेजमेंट)
इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ मैनेजमेंट, अहमदाबाद (मैनेजमेंट डेवलपमेंट प्रोग्राम इन प्रो़फेशनल मैनेजमेंट एंड स्पोर्ट्स ऑर्गनाइज़ेशन)