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औषधि का ख़ज़ाना है जामुन (Jamun is a treasure of medicine)

जामुन डायबिटीज़, कब्ज़, एनीमिया, जानकााटख पथरी में काफी उपयोगा है. इसके बीज में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स फ्री रेडिकल्स से शरीर को बचाते हैं. जामुन के फल से लेकर पत्ते, छाल, गुठलियां व जड़ तक उपयोगी हैं. जामुन में विटामिन सी व आयरन भरपूर मात्रा में होता है. इससे न केवल एनीमिया की समस्या दूर होती है, बल्कि बॉडी में हीमोग्लोबिन भी बढ़ता है.

घरेलू नुस्खे

  • जामुन के रस में बराबर की मात्रा में आम के रस को मिलाकर पीने से डायबिटीज़ के मरीज़ को लाभ होता है. इसके अलावा जामुन के पत्ते में नीम व मेथीदाना मिलाकर अच्छी तरह से उबालकर पीने से भी शुगर कंट्रोल में रहता है. या फिर शुगर के मरीज़ एक ग्लास पानी में एक चम्मच जामुन का सिरका मिलाकर पीएं. यदि आप बढ़िया परिणाम चाहते हैं, तो इसे नाश्ते के समय लें.
  • पथरी में जामुन खाने से पथरी गल कर निकल जाती है या फिर जामुन का रस पीने से भी पथरी टूटकर बाहर निकल आती है.
  • जामुन के बीज का पाउडर बनाकर सेवन करने से ब्लड प्रेशर को संतुलित रखने में सहायता मिलती है. जामुन के पाउडर में एलाजिक एसिड एंटीऑक्सीडेंट होता है, जो ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करता है.
  • जामुन की गुठली का चूर्ण डायजेस्टिव सिस्टम को मज़बूत करने के साथ-साथ शरीर को डिटॉक्स भी करता है.

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  • दांत दर्द की समस्या होने पर जामुन के छाल का मंजन के तौर पर इस्तेमाल करें. दर्द दूर होने के साथ मसूड़ों के सूजन में भी आराम मिलता है.
  • जामुन के पत्तों, छाल व बीज़ों के अर्क से बना काढ़ा पीने से ओरल इंफेक्शन की प्रॉब्लम दूर होती है.
  • दस्त की परेशानी होने पर जामुन के तने व जड़ की छाल और सूखे बीज का काढ़ा बनाकर पीएं.
  • सांसों की बदबू दूर करने और मसूड़ों को मज़बूत करने के लिए जामुन के पत्तों को चबाएं. इसके अलावा जामुन के पत्तों को धोकर पानी में उबाल लें. फिर छानकर ठंडा होने के बाद पीएं.
  • त्वचा के दाग-धब्बों को दूर करने के लिए जामुन का रस पीएं.
  • बवासीर के इलाज में जामुन के फूलों के रस का उपयोग बेहद कारगर है.

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  • कान में दर्द हो रहा हो, तो जामुन के पाउडर में शहद मिलाकर कान में डालें.
  • मुंह में छाले हो गए हों, तो जामुन के पत्तों के रस से कुल्ला करें.
  • पायरिया की प्रॉब्लम में जामुन के सूखे पत्तों को जलाकर पाउडर बनाकर दांतों की मालिश करें.
  • जामुन की गुठलियों को धूप में सूखा कर पाउडर बना लें. यह बॉडी में इंसुलिन के स्तर को बढ़ाने में सहायता करता है. प्री-डायबिटीज़ में यह पाउडर खाने से डायबिटीज़ होने से रोका जा सकता है. साथ ही जामुन के पत्तों की चाय भी ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मददगार है.

सुपर टिप

जामुन में कैंसर रोधी गुण भी होते हैं. कीमो थेरेपी व रेडिएशन थेरेपी होने के बाद जामुन का सेवन करना लाभकारी होता है.

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परहेज़

- दूध पीने के बाद जामुन न खाएं, एसिडिटी की परेशानी हो सकती है.

- वात दोष की समस्या से पीड़ित लोगों को जामुन नहीं खाना चाहिए.

- जामुन को खाली पेट या रात में खाने से बचें.

- ऊषा गुप्ता

Photo Courtesy: Freepik

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