एक्ट्रेस खुशबू (Kushboo) एक्टिंग के अलावा पॉलिटिक्स में भी काफी एक्टिव हैं. वो अक्सर महिलाओं के हक के लिए भी मज़बूती से अपनी राय रखती हैं. खुशबू को हाल ही में राष्ट्रीय महिला आयोग की सदस्य बनी हैं. नया कार्यभार संभालने के बाद खुशबू ने हाल ही में एक इंटरव्यू दिया है, जिसमें उन्होंने कई शॉकिंग खुलासे (Kushboo makes shocking revelations) किए हैं और बताया है कि किस तरह बचपन में उनके पिता ने ही उन्हें सेक्सुअली एब्यूज (Kushboo Sundar spoke about her abusive father) किया.
अपने इस इंटरव्यू में खुशबू ने बचपन में हुए सेक्सुअल एब्यूज (Khushboo opens up on Sexual abuse) पर खुलकर बात की. उन्होंने बताया, "बचपन में किया गया एब्यूज एक ऐसा ज़ख्म दे जाता है जो जीवनभर रहता है. चाहे वो लड़का हो या लड़की. इस तरह की हरकत बच्चे को पूरी जिंदगी के लिए डरा देती है. मेरी मां ने भी एब्यूजिव शादी की तकलीफ झेली है."
अपने बचपन के बारे में कुछ शॉकिंग खुलासे करते हुए खुशबू ने बताया, एक शख्स जो सिर्फ यह सोचता था कि अपनी पत्नी और बच्चों को पीटना व इकलौती बेटी को सेक्सुअली एब्यूज करना उसका जन्मसिद्ध अधिकार है." खुशबू ने आगे कहा, "मेरे साथ जब एब्यूज की शुरुआत हुई तब मैं सिर्फ आठ साल की थी. तब मुझे गालियां दी जाती थीं. सेक्सुअली एब्यूज किया जाता था. 15 साल की उम्र तक मैं सब सहती रही. मैं लम्बे वक्त तक खामोश रही. 15 साल की उम्र तक पिता के खिलाफ मेरी बोलने की हिम्मत नहीं थी."
खुशबू ने आगे कहा, "एक डर था मेरे मन में कि मेरे साथ जो हो रहा है, उस पर कोई यकीन नहीं करेगा. मेरी मां भी नहीं, क्योंकि उन्होंने माहौल देखा था जहां कुछ भी हो जाए 'मेरा पति मेरा देवता है' वाली सोच होती थी."
"लेकिन एक वक्त ऐसा आया कि मुझे स्टैंड लेना पड़ा. 15 साल की उम्र में मैंने इस एब्यूज के खिलाफ आवाज़ उठाना शुरू कर दिया. फिर वो (पिता) हमें छोड़कर चला गया. मैं तब सिर्फ 16 साल की थी. हम ये भी नहीं जानते थे कि अब खाना कहां से आएगा. लेकिन इतना कुछ झेल चुकी थी कि मुझमें लड़ने की हिम्मत आ गई थी. तो मैंने सभी मुश्किलों का काफी हिम्मत से सामना किया."
बता दें कि खुशबू सुंदर ने 'द बर्निंग ट्रेन' से बॉलीवुड में डेब्यू किया था. एक्ट्रेस साउथ इंडियन फिल्म इंडस्ट्री का एक पॉपुलर चेहरा है. साल 2010 में उन्होंने पॉलिटिक्स जॉइन कर लिया और पॉलिटिक्स में भी वे जाना माना चेहरा बन चुकी हैं.