अपने बेबाक अंदाज के लिए मशहूर और विवादित बयानों के कारण हमेशा ट्रोलर्स के निशाने पर रहनेवाली कंगना रनौत एक बार फिर विवादों में घिरी हुई हैं. सिख समुदाय के खिलाफ कथित अपमानजनक भाषा का इस्तेमाल करने के खिलाफ कंगना पर बैक टू बैक कई एफआईआर दर्ज हो चुके हैं, लेकिन इन एफआईआर की परवाह न करते हुए एक्ट्रेस ने बेहद बोल्ड अंदाज़ में पलटवार किया है और जता दिया है कि उन्हें इन सबसे जरा भी फर्क नहीं पड़ता.
दरअसल, मंगलवार को सिख समुदाय के खिलाफ विवादित बयान देने के खिलाफ पर पर महाराष्ट्र पुलिस ने भी एफआईआर दर्ज की है. अब कंगना रनौत ने अपने इंस्टाग्राम हैंडल पर एफआईआर को लेकर बोल्ड रिएक्शन दिया है और जता दिया है कि एक और एफआईआर से उन्हें जरा भी फर्क नहीं पड़ा है.
कंगना रनौत ने अपनी इंस्टाग्राम स्टोरी पर अपनी एक थ्रोबैक फोटो शेयर की है, जिसमें हाथों में वाइन की ग्लास लिए वे बेहद बोल्ड व हॉट अंदाज में पोज देती नजर आ रही हैं. इस फ़ोटो के साथ कंगना ने जो कैप्शन लिखा है, वो सबका ध्यान खींच रहा है. कंगना ने लिखा है, “एक और दिन, एक और FIR. अगर वे मुझे गिरफ्तार करने आते हैं तो फ़िलहाल घर पर मेरा मूड कुछ ऐसा ही होगा.”
अपने इस पोस्ट के ज़रिए कंगना ने साफ साफ जता दिया है कि ना तो बैक टु बैक हो रहे एफआईआर से उन्हें कोई फर्क पड़ रहा है, न उन्हें ट्रोलर्स व लोगों की आलोचनाओं की कोई परवाह है.
बता दें कि पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को निरस्त करने की घोषणा पर प्रतिक्रिया देकर इन दिनों कंगना बुरी तरह विवादों में घिरी हुई हैं. कृषि कानूनों को रद्द करने के पीएम के फैसले के खिलाफ प्रतिक्रिया देते हुए कंगना ने सोशल मीडिया पर लिखा था, "खालिस्तानी आतंकवादी आज सरकार को घुमा रही हो, लेकिन उस महिला (इंदिरा गांधी) को नहीं भूलना चाहिए, जिसने इन्हें अपनी जूती के नीचे मच्छरों की तरह कुचल दिया था, लेकिन देश के टुकड़े नहीं होने दिए. उनकी मृत्यु के दशक के बाद भी, आज भी उनके नाम से कांपते हैं ये, इनको वैसा ही गुरु चाहिए." उनके इस बयान के बाद से ही बवाल मचा हुआ है और कथित तौर पर धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए उनके खिलाफ कई धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है.
इससे पहले वह देश की आजादी को 'भीख' बताने की वजह से भी कंगना काफी विवादों में रही थीं. तीनों कृषि कानून वापस लेने के सरकार के फैसले से नाराज़ कंगना तुरन्त इस पर प्रतिक्रिया दी थी और लिखा था, 'दुखद, शर्मनाक और सरासर गलत… अगर संसद में बैठी सरकार के बजाय गलियों में बैठे लोग कानून बनाना शुरू कर दें तो यह भी एक जिहादी देश है… उन सभी को बधाई जो ऐसा चाहते हैं.'