आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि हाई बीपी से गुजर रहे 50 प्रतिशत से अधिक भारतीय अपनी स्थिति से अंजान हैं. हैरानी की बात तो यह है कि प्रत्येक सात मरीजों में से एक या एक से भी कम मरीज हाई बीपी को कम करने की दवा खाते हैं. इसके साथ ही 10 में से केवल एक व्यक्ति ही ऐसा है जो हाई बीपी पर कंट्रोल रख पाता है. ऐसे में ज़रूरत है कि लोगों को जागरूक किया जाए कि यदि वे हाई बीपी की दवा नहीं खाते और इसका इलाज नहीं करते तो यह शरीर के अन्य अंगों को भी प्रभावित कर सकता है.
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आपको बता दें कि हाइपरटेंशन (उच्च रक्तचाप) की समस्या तब होती है, जब किसी व्यक्ति के धमनियों में बहनेवाले रक्त का दबाव लगातार बढ़ता जाता है और एक निश्चित सीमा से ऊपर बढ़ जाता है. हाई ब्लड प्रेशर के मामले में खून को पंप करने के लिए ज़्यादा ताक़त की ज़रूरत पड़ती है यानी हाई ब्लड प्रेशर का सीधा मतलब यह है कि आपके हृदय (हार्ट) को आपके खून को पंप करने के लिए ज्यादा मेहनत करनी पड़ रही है. उच्च रक्तचाप का प्रमुख कारण अनियमित व अस्वस्थ जीवनशैली और खाने−पीने की आदतों में असावधानी है. खान−पान में संयम न बरतने से कोलेस्ट्रॉल (एक प्रकार की वसा) धमनियों की भित्ति पर चिपक जाता है, जिससे धमनियां संकरी होने लगती हैं. नतीजतन दिल का खून को पंप करने का बोझ बढ़ जाता है. स्वस्थ व सक्रिय जीवनशैली और खान-पान की आदतों में सुधार लगाकर ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रखा जा सकता है.
इसके साथ ही मंत्र-मुद्रा और मेडिटेशन के माध्यम से भी आप हाई ब्लड प्रेशर को नियंत्रित कर सकते हैं. जी हां, मंत्र, मुद्रा व मेडिटेशन मानसिक व आध्यमिक शांति प्रदान करने के साथ ही स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से भी निजात दिलाता है. आपको बता दें कि शरीर में प्रवाहित होनेवाले सतों चक्रों में से एक, अनाहत चक्र के अंतुलित होने पर ब्लड प्रेशर संबंधी समस्या होती है. इसके असंतुलित होने के कई कारण हैं, जिनमें तनाव, खान-पान में असंतुलन, अस्वस्थ जीवनशैली प्रमुख हैं. इन कारणों से हृदय पर दवाब पड़ता है और व्यक्ति हाई ब्लड प्रेशर का शिकार हो जाता है.
आधुनिक चिकित्सा जहां ब्लड प्रेशर के लक्षणों को नियंत्रित करती है, वहीं मुद्रा व मंत्र विज्ञान इसके मूल में जाकर उसके प्रमुख कारण को नष्ट करने का प्रयत्न करता है, इसलिए मुद्रा व मंत्र विज्ञान में बहुत ही अच्छे उपाय मिलते हैं, जिससे ब्लड प्रेशर को पूरी तरह संतुलित किया जा सकता है.
ब्लड प्रेशर के संतुलन के लिए ज़रूरी है कि रक्त की थिकनेस संतुलित रहे. इसके लिए हमें कुछ मंत्रों का उच्चारण करना होता है. रक्तचाप संतुलित करने का मंत्र है ओम भवानी पांडुरंगा. इसके लिए आंखें बंद करके हृदय पर ध्यान लगाते हुए इस मंत्र का जाप करें. खुली आंखों से मंत्र का उच्चारण करने से ऊर्जा का नाश होता है, लेकिन आंखें बंद करके मन ही मन जाप करने से इसका अत्यधिक प्रभाव पड़ता है. इस मंत्र के माध्यम से भव यानी संसार की माता को याद करते हुए मंत्र के सहारे पर हम उनका आह्वान करते हैं, उनकी शक्ति को आमंत्रित करते हैं और फिर उसके साथ लिंग मुद्रा लगाएं.
लिंग मुद्रा लगाने के लिए दोनों हाथों की उंगलियों को आपस में इंटरलॉक करें. एक अंगूठे को सीधा रखें और दूसरे अंगूठे से पहलेवाले पर घेरा बना दें. यह मुद्रा लगाते हुए हथेलियों को हृदय के पास लाएं. चेहरे और कंधों को रिलैक्स रखते हुए पूरा ध्यान हृदय पर लगाएं, क्योंकि आपका जितना हृदय पर होगा, उतना ही हृदय के अंदर रक्त का प्रवाह संतुलित होता जाएगा. जितना रक्त का प्रवाह संतुलित होगा, आप हाई बीपी या लो बीपी से मुक्त हो जाएंगे. ध्यान रखें कि मंत्र का जाप हृदय से करना है, जोर से नहीं.
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मंत्र और मुद्रा के साथ मेडिटेशन का समन्वय करने आश्चर्यजनक परिणाम मिलते हैं. इसके लिए सुखासन में बैठकर लिंग मुद्रा लगाते हुए ओम भावनी पांडुरंगा का जाप करते हुए मन ही मन हृदय के पास पहुंच जाइए. हृदय के पास अनाहत नामक शक्तिशाली चक्र लगातार ऊर्जा शक्ति बनाते रहता है और उससे ऊर्जा शक्ति प्रवाहित होती है. ध्यान करते-करते आपका अनाहत चक्र संतुलित हो जाता है, साथ ही रक्तचाप भी संतुलित होते जाता है. रोज़ाना इस प्रक्रिया को 20 मिनट नियमित रूप से करने से आपको कुछ दिनों के अंदर ही सकारात्मक परिणाम दिखने शुरू हो जाएंगे. ध्यान के लाभों को महसूस करने के लिए नियमित अभ्यास आवश्यक है. इसे प्रतिदिन की दिनचर्या में आत्मसात कर लेने पर ध्यान दिन का सर्वश्रेष्ठ अंश बन जाता है. ध्यान एक बीज की तरह है. जब आप बीज को प्यार से विकसित करते हैं तो वह उतना ही खिलता जाता है.
सिर्फ ब्लड प्रेशर ही नहीं, ध्यान और मंत्र-मुद्रा की मदद से आप हृदय संबंधी रोग, जोड़ों में दर्द जैसी 1-2 नहीं, बल्कि 48 बीमारियों से निजात पा सकते हैं. इसके लिए डाउनलोड करें वैदिक हीलिंग मंत्र ऐप. जिसमें 48 बीमारियों से संबंधित 48 मंत्रों व मुद्राओं के साथ-साथ 48 रोगों के लिए गाइडेड मेडिटेशन टेक्नीक यानी ध्यान के तरीक़ों की भी जानकारी दी गई है. इस तरह आप मंत्र, मुद्रा व ध्यान विज्ञान की इस प्राचीन विद्या का लाभ उठाकर स्वस्थ-निरोगी जीवन पा सकते हैं. ये ऐप एंड्रॉयड व आइओएस दोनों के लिए उपलब्ध है. मेडिटेशन की इन ख़ास तकनीकों के बारे में जानने के लिए 14 दिनों का फ्री ट्रायल पीरियड आज ही ट्राई करें और हमेशा स्वस्थ रहें.
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