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फिल्म समीक्षा: लव सेक्स और धोखा २- लाचारी ऐसी जिसे देख नाराज़गी हो जाए… (Movie Review- Love Sex Aur Dhokha 2)


रेटिंग: २ **

फिल्में या तो मनोरंजन करने के लिए बनाई जाती है या संदेश देने के लिए या फिर हमें जीवन का एक अलग नज़रिया दिखाने के लिए लेकिन लव सेक्स और धोखा २ में दिबाकर बनर्जी क्या कहना चाह रहे हैं शायद वे भी नहीं समझ पा रहे होंगे. फिल्म शुरुआत से अंत तक भ्रमित करने के साथ थोड़ा कंफ्यूजन में भी दिखाई देती है. और इंटरवल होते-होते हम यह सोचने को मजबूर हो जाते हैं कि आख़िर निर्माता-निर्देशक कहना क्या चाह रहे हैं?..
लव सेक्स और धोखा २ को लाइक, शेयर और डाउनलोड करके तीन कहानियों को रूप में दिखाने की कोशिश की गई है.
पहले में नूर बने परितोष तिवारी, जो पुरुष से स्त्री बना है को रियालिटी शो ट्रुथ या नाच के रूप में दिखाया जाता है. इस शो के जज के रूप में मौनी रॉय, अनु मलिक, तुषार कपूर व सूफी चौधरी हैं. इसमें यह दिखाने की कोशिश की गई है कि रियालिटी शो में टीआरपी बढ़ाने, लोगों की सहानुभूति पाने, जीतने के लिए न जाने कितने तिकड़म लगाए जाते हैं. वैसे इन सब से तो लोग पहले से भली-भांति परिचित हैं, तो इसमें कुछ नया तो नहीं लिखा है लेखक-निर्देशक‌ ने. लेकिन इसमें ख़ूबसूरती कम और भौंडापन ज़्यादा ही उजागर होता है, जो बेचैनी के साथ-साथ उकताहट भी लाता है.
कैसे नूर शो में कभी ऑनस्क्रीन रहता है, तो कभी ऑफ स्क्रीन हो जाती है. कुछ अपने को साबित करने, कुछ बनने के लिए, यहां तक की शो में उनकी दो साल से उससे दूर रही मां को भी लाया जाता है, जो अभी तक अपने बेटे को बेटी के रूप में स्वीकार नहीं कर पाई है. कई बार कुछ अजीब तरह की स्थिति पैदा होती हैं. कुछ ऐसी गंदगी दिखाई जाती है, जिसे ना दिखाया जाना बेहतर था. आख़िर इस तरह की चीज़ों को दिखाकर बनर्जी क्या साबित करना चाहते थे, यह शायद वही समझ पाए.
दूसरी कहानी सेक्स जो शेयर के रूप में बताई गई है में कुल्लू, बोनिता राजपुरोहित हैं, जो एक दिल्ली मेट्रो के ट्रांसजेंडर सफ़ाई कर्मचारी हैं. वो अपने शोषण से लेकर आर्थिक स्थिति को उजागर करती हैं. इसमें कुल्लू किस तरह से साजिश का शिकार होती है और वह ख़ुद भी किस तरह अपनी बॉस लवीना को ब्लैकमेल करती है देखने लायक है. परंतु यह कहानी भी इतनी उथल-पुथल से भरी है कि बेचारे दर्शक अपना सिर पकड़ के बैठ जाते हैं.
तीसरी कहानी धोखा, डाउनलोड के ऊपर टीनएज गेमर शुभम, अभिनव सिंह की है, जो अपने फॉलोअर्स बढ़ाने को लेकर किस तरह ऑनलाइन गेम खेलते-खेलते ख़ुद भी इस मकड़जाल में फंसता चला जाता है.
माना लव सेक्स धोखा 2 में लाइक शेयर डाउनलोड के रूप में निर्देशक ने कुछ ख़ास दिखने की कोशिश की है, लेकिन अक्सर इस तरह के एक्सपेरिमेंट या तो सफल होते हैं या तो असफल होते हैं. किंतु यह फिल्म इस मामले में दोनों ही नहीं है. ना इसे हम कामयाब कह सकते हैं ना इसे हम एकदम नकार ही सकते हैं. परंतु इस तरह की फिल्मों के देखने के लिए आपकी मनोस्थिति भी उतनी ही ऊंची होनी चाहिए, तभी आप इस तरह की एक्सपेरिमेंट को पचा सकते हैं, वरना सिवाय नाराज़गी और ग़ुस्से के कुछ हासिल नहीं होता.
कलाकारों में परितोष तिवारी, बोनिता राजपुरोहित, अभिनव सिंह, स्वरूप घोष, मौनी रॉय, तुषार कपूर, अनु मलिक, उर्फी जावेद सभी ने अपना बेस्ट दिया है, पर अफ़सोस विषय ही उलझा हो, तो इसमें कलाकार क्या कर सकते हैं. प्रतीक वत्स के साथ अभिनव सिंह व दिबाकर बनर्जी ने मिलकर कहानी लिखी है, जो साधारण सी है. गीत-संगीत, छायांकन सब औसत दर्जे का है.
निर्माता एकता कपूर और शोभा कपूर को यह समझना चाहिए कि तमाम विषय हैं, जिस पर बहुत सारी अच्छी फिल्में बन सकती हैं, फिर इस तरह का बेतुकापन करने का क्या औचित्य था. रही बात निर्देशक की, तो वे तो इन सब कामों में माहिर हैं, तो उन्होंने अपना एक और जलवा दिखा ही दिया.

Photo Courtesy: Social Media

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